1kW UTL Off-grid Solar System में मिल रहा है rMPPT टेक्नोलॉजी इन्वर्टर और बैटरी, जानें कीमत और फायदे

Durgesh Paptwan
Durgesh Paptwan | July 6, 2025

भारत के कई गांवों और कस्बों में आज भी बिजली की भारी कटौती होती है खासकर गर्मियों के मौसम में जब बिजली की मांग सबसे अधिक होती है। ऐसे इलाकों में बार-बार और लंबे समय तक बिजली जाने की समस्या आम है। इस स्थिति में ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम सबसे बेहतर समाधान बनकर उभरता है क्योंकि यह बैटरी के ज़रिए बिजली का बैकअप भी देता है। UTL जैसे भरोसेमंद ब्रांड का 1kW Off-grid Solar System खासतौर पर उन घरों के लिए डिज़ाइन किया गया है जहां बिजली की कटौती अधिक होती है या फिर बिजली का कनेक्शन ही नहीं है। यह सिस्टम सूरज की रोशनी से बिजली बनाकर बैटरी में स्टोर करता है और फिर उस बिजली का उपयोग आपके घरेलू उपकरणों को चलाने में करता है।

Utl 1kw off grid solar system details

UTL के 1kW सोलर सिस्टम की खासियत

UTL का यह ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम एक कम्प्लीट पैकेज है जिसमें सभी जरूरी चीजें शामिल हैं। इसमें दो 340W के Mono PERC सोलर पैनल मिलते हैं जो हाई एफिशिएंसी के साथ 25 साल की वारंटी के साथ आते हैं। पैनल की कुल क्षमता 680W है जो रोज़ाना औसतन 4 यूनिट बिजली जनरेट कर सकते हैं। इसके अलावा इस सिस्टम में 1kVA का Gamma+ rMPPT इन्वर्टर शामिल है जो 12V या 24V के सोलर पैनल को सपोर्ट करता है और 2 साल की वारंटी के साथ आता है। बैटरी के रूप में इसमें 150Ah की UST1560 मॉडल दी गई है जो 5 साल की वारंटी के साथ आती है और बिजली जाने पर उपकरणों को सुचारू रूप से चलाने में मदद करती है। इसके साथ MC4 कनेक्टर्स, DC केबल, माउंटिंग स्ट्रक्चर और इंस्टॉलेशन किट भी मिलती है, जिससे यह एक पूरा सोलर सॉल्यूशन बन जाता है।

rMPPT टेक्नोलॉजी से मिलता है ज्यादा पावर आउटपुट

इस सिस्टम की सबसे बड़ी खासियत इसका rMPPT (Rapid Maximum Power Point Tracking) इन्वर्टर है। यह टेक्नोलॉजी सूरज की रोशनी के अनुसार सोलर पैनल की वोल्टेज को ऑटोमैटिकली एडजस्ट करती है ताकि हर समय अधिकतम पावर आउटपुट मिल सके। जहां सामान्य PWM इन्वर्टर में 30% तक बिजली की बर्बादी होती है वहीं rMPPT इन्वर्टर हर वॉट का सही इस्तेमाल करता है। यही वजह है कि UTL का Gamma+ इन्वर्टर आज मार्केट में काफी पॉपुलर है। इसमें LCD डिस्प्ले भी दिया गया है जो बिजली उत्पादन, बैटरी चार्जिंग और लोड की जानकारी रियल टाइम में दिखाता है। इसके जरिए आप 4-5 LED बल्ब, 2-3 पंखे, 1 कूलर, 1 छोटा फ्रिज, 1 टीवी और मोबाइल/लैपटॉप चार्जर आसानी से चला सकते हैं। हालांकि अगर आपको AC, गीजर या वॉशिंग मशीन जैसे भारी उपकरण चलाने हैं तो आपको बड़ा सोलर सिस्टम लेना होगा।

कीमत और इंस्टॉलेशन की पूरी जानकारी

साल 2025 के अनुसार इस 1kW ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम की कीमत लगभग ₹49,000 से ₹60,000 के बीच आती है। दो 340W सोलर पैनलों की कीमत ₹17,000 से ₹20,400 तक हो सकती है, जबकि Gamma+ rMPPT इन्वर्टर ₹12,000 से ₹15,000 में उपलब्ध है। 150Ah की बैटरी की कीमत भी लगभग ₹12,000 से ₹15,000 के बीच है। इंस्टॉलेशन और बाकी एक्सेसरीज़ की लागत ₹8,000 से ₹10,000 तक जाती है। हालांकि अगर आप इसे UTL की ऑफिशियल वेबसाइट से खरीदते हैं, तो यह सिस्टम ₹39,999 से शुरू हो जाता है। इंस्टॉलेशन और स्थान के अनुसार कुल लागत ₹50,000 तक पहुंच सकती है। इस सिस्टम को लगाने के लिए लगभग 100 वर्गफुट छत की आवश्यकता होती है।

क्या इस सिस्टम पर सरकार की सब्सिडी मिलती है?

यह जानना बेहद जरूरी है कि यह एक ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम है और भारत सरकार की सब्सिडी योजना केवल ऑन-ग्रिड सिस्टम पर लागू होती है। यानी इस सिस्टम पर आपको सब्सिडी का लाभ नहीं मिलेगा। यदि आप सब्सिडी लेना चाहते हैं तो ऑन-ग्रिड सोलर सिस्टम का विकल्प चुनना होगा, जिसके लिए बिजली का कनेक्शन होना जरूरी है। लेकिन अगर आपका मकसद पावर कट से राहत पाना और दिन-रात बिजली की सुविधा पाना है तो UTL का यह 1kW ऑफ-ग्रिड सिस्टम निश्चित ही एक समझदारी भरा निवेश है जो आपकी बिजली की टेंशन को हमेशा के लिए खत्म कर सकता है।

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